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कोरोना को काबू करने के प्रयासों पर भारत को मिला पोर्टर पुरस्कार

अजय वर्मा

नयी दिल्ली। स्वास्थ्य क्षेत्र और विशेष रूप से कोविड प्रबंधन में प्रयासों को सम्मानित करने की दिशा में भारत के स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय को पोर्टर पुरस्कार 2023 मिला है। इस पुरस्कार की घोषणा पिछले महीने प्रतिस्पर्धा संस्थान (IFC) स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी के यूएस एशिया टेक्नोलॉजी मैनेजमेंट सेंटर (USATMC) द्वारा आयोजित ‘द इंडिया डायलॉग’ में की गई। इसे केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री डॉ. मनसुख मांडविया और मंत्रालय के सचिव राजेश भूषण की वर्चुअल उपस्थिति में दिया गया।

वैक्सीन-आशा कार्यकर्ताओं की बड़ी भूमिका

यह पुरस्कार भारत सरकार द्वारा कोविड-19 के प्रबंधन में अपनाई गई रणनीति, दृष्टिकोण और पीपीई किट बनाने के लिए उद्योग में विभिन्न क्षेत्रों की भागीदारी, आशा कार्यकर्ताओं की भागीदारी को सम्मानित करता है। यह भी रेखांकित किया गया कि वैक्सीन के विकास और निर्माण के विचार पर भारत का काम बेहद उत्कृष्ट था। भारत ने 2.5 बिलियन से अधिक खुराकें वितरित की हैं, जो आश्चर्यजनक रहा है। सरकार ने देश में कोविड की स्थिति से निपटने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाए।

भारत के प्रयास को एक्सपर्ट ने सराहा

विशेषज्ञों ने कहा कि भारत द्वारा अपने कोविड प्रबंधन में अपनाई गई रणनीति बहुत सफल रही है। उन्होंने भारत की रणनीति के तीन आधारशिलाओं-नियंत्रण, राहत पैकेज और टीका प्रशासन पर विस्तार से जानकारी दी। इसमें कहा गया है कि ये तीन उपाय जीवन को बचाने और कोविड-19 के प्रसार को रोकने के द्वारा आर्थिक गतिविधि सुनिश्चित करने, आजीविका को बनाए रखने, वायरस के खिलाफ प्रतिरक्षा विकसित करने में महत्वपूर्ण थे। इस प्रकार भारत ने आर्थिक परिणामों के साथ-साथ सामाजिक एजेंडे को संतुलित कर अपनी स्वास्थ्य सेवा प्रणाली के माध्यम से अनुकूलता प्रदर्शित की।

ऐसे पड़ा पुरस्कार का नाम

पोर्टर पुरस्कार का नाम अर्थशास्त्री, शोधकर्ता, लेखक, सलाहकार, वक्ता और शिक्षक माइकल ई. पोर्टर के नाम पर रखा गया है। उन्होंने बाजार प्रतिस्पर्धा और कंपनी रणनीति, आर्थिक विकास, पर्यावरण और स्वास्थ्य सेवा सहित कंपनियों, अर्थव्यवस्थाओं और समाजों के सामने आने वाली कई सबसे चुनौतीपूर्ण समस्याओं को दूर करने के लिए आर्थिक सिद्धांत और रणनीति अवधारणाओं को प्रस्तुत किया है। उनके शोध को कई पुरस्कार मिले हैं, और वे आज अर्थशास्त्र और व्यवसाय में सबसे अधिक उद्धृत विद्वान हैं।

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