नयी दिल्ली (स्वस्थ भारत मीडिया)। पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के अंतर्गत विभिन्न संस्थानों में मौसम, जलवायु और महासागरों के पूर्वानुमान के कौशल में सुधार के लिए कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) और मशीन लर्निंग (ML) तकनीकों का उपयोग किया जा रहा है। यह जानकारी केंद्रीय पृथ्वी विज्ञान मंत्री किरण रिजिजू ने गुरुवार को राज्यसभा में एक लिखित उत्तर में दी है।
AI-ML वर्चुअल सेंटर स्थापित
उन्होंने बताया कि पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय ने एक समर्पित AI और ML वर्चुअल सेंटर की स्थापना की है, जिसे कार्यशालाओं और सम्मेलनों का आयोजन करके विभिन्न AI और ML तकनीकों और क्षमता निर्माण गतिविधियों के विकास और परीक्षण का काम सौंपा गया है। भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) में रेखा-चित्रीय (ग्राफिकल) प्रोसेसर-आधारित सर्वर पर AI मॉडल के प्रशिक्षण और तैनाती के लिए एक कंप्यूटिंग वातावरण और वर्चुअल वर्कस्पेस स्थापित किया गया है।
हाईब्रिड तकनीक से मौसम की भविष्यवाणी
मंत्री ने कहा कि मंत्रालय की परिकल्पना है कि मौसम और जलवायु के कई पूर्वानुमान AI-ML मॉडल और पारंपरिक संख्यात्मक मौसम भविष्यवाणी मॉडल के संयोजन की हाइब्रिड तकनीक पर आधारित होंगे। मंत्रालय के अधीन संस्थानों को पृथ्वी विज्ञान के क्षेत्र में AI और ML तकनीकी प्रगति का उपयोग करने के लिए लगातार प्रोत्साहित किया गया है। इसे देखते हुए, मंत्रालय उच्च-प्रदर्शन कंप्यूटिंग (हाई परफॉरमेंस कंप्यूटिंग) के बुनियादी ढांचे को भी आगे बढ़ाने के लिए प्रतिबद्ध है।